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हो रहा उदित है नया साल
 
नव किरण प्रकाशित नव मशाल
हो रहा उदित है नया साल

यात्रा कर बारह माहों की
कंटकमय मुश्किल राहों की
आहों की और कराहों की
औ कुंद पड़ी सब चाहों की

लो चला जा रहा वृद्ध साल
हो रहा उदित है नया साल 

पिछला वाला था साल खला
वह गिरा पड़ा-सा बढ़ा चला
लगता था जैसे ढला ढला
इससे तो था अवसान भला

इस वर्ष ठीक हो देखभाल
हो रहा उदित है नया साल

खुशियों के मोती जीवन में
नव किरणों से जगमग बिखरें
भीगे थे जो अवसादों से
वे रश्मि पुंज बनकर निखरें

देखें अब सब इनका कमाल
हो रहा उदित है नया साल

- ओम प्रकाश नौटियाल  
१ जनवरी २०१७

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