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होली है!!

 

प्यारी प्यारी होली में

इक-दूजे को क्यों न लुभाएँ प्यारी-प्यारी होली में
सब नाचें, झूमें मुस्काएँ प्यारी- प्यारी होली में

अपना- अपना मन बहलायें प्यारी-प्यारी होली में
बच्चे - बूढे हँसे - हँसाएँ प्यारी - प्यारी होली में

ऐसा शोख नज़ारा या रब ज़न्नत में भी कहाँ होगा
रंगों के घन उड़ते जाएँ प्यारी- प्यारी होली में

प्यारी-प्यारी होली है तो प्यारी - प्यारी रहने दो
लोगों के मन खिल-खिल जाएँ प्यारी-प्यारी होली में

लाल, गुलाबी, नीले, पीले चेहरों के क्या कहने हैं
सब के सब ही "प्राण" सुहाएँ प्यारी-प्यारी होली में

-प्राण शर्मा
१४ मार्च २०११

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